Divya Mishra Case | 2019 के इस केस ने दहला दिया था कानपुर ?

# Divya Mishra Case | 2019 के इस केस ने दहला दिया था कानपुर #

तारीख थी चौदह अक्टूबर दो हज़ार उन्नीस उत्तर प्रदेश के इटावा जिले से एक ऐसी वारदात की खबर सामने आती है जिसे सुनकर हर कोई सन्न रह जाता है एक महिला की लाश अपने ही घर में मिलती है जिसकी बड़ी ही बेरहमी से हत्या की गई थी मरने वाली महिला दिव्या मिश्रा एक जानी मानी टीवी एंकर की पत्नी थी मामले की गंभीरता को समझते हुए तुरंत ही जांच शुरू होती है जांच के बाद जब पुलिस वाले इस मामले का खुलासा करते हैं तो हर कोई शॉक्ड रह जाता है यह मामला था धोके विश्वासघात और गोल्ड प्लेटेड मर्डर का तो आखिर दिव्या मिश्रा की हत्या किसने की थी हत्या का कारण क्या था और इस वारदात के पीछे किसका हाथ था चलिए सब कुछ जानते हैं डीटेल में जैसा कि हमने बताया यह घटना चौदह अक्टूबर दो हज़ार उन्नीस की है उत्तर प्रदेश के इटावा जिले में एक जगह है कटरा बाल सिंह कॉलोनी यहीं पर एक मकान में दिल्ली में काम करने वाले टीवी एंकर अजितेश मिश्रा अपने परिवार के साथ रहा करते थे उनकी पत्नी का नाम था दिव्या मिश्रा शाम का समय था तभी दिव्या के ससुर प्रमोद मिश्रा किसी काम से अपने बहुत से मिलने आते हैं दरवाजे पर वह कई बार आवाज लगाते हैं मगर घर के अंदर से कोई रिस्पॉन्स नहीं मिलता है फिर वह दरवाजे को हल्का सा धक्का देते हैं जिससे दरवाजा तुरंत खुल जाता है जैसे ही प्रमोद मिश्रा घर के अंदर दाखिल होते हैं उनकी आंखें फटी की फटी रह जाती है घर के हॉल में उनकी बहू दिव्या मिश्रा खून से लथपथ बेसुध पड़ी हुई थी प्रमोद मिश्रा अपनी बहू को लगातार उठाने की कोशिश करते हैं मगर दिव्या कोई रिस्पॉन्स नहीं देती है फिर प्रमोद मिश्रा मदद के लिए आवाज लगाते हैं जिसे सुनकर आसपास के भी कुछ लोग घर के अंदर दाखिल हो जाते हैं कि स्थिति को देखते हुए लगभग कन्फर्म हो जाता है कि दिव्या मिश्रा की जान जा चुकी है अब तत्काल ही पुलिस को इस घटना की जानकारी दे दी जाती है जानकारी मिलते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंच जाती है
शुरुआती जांच में ही पता चल जाता है कि दिव्या की मौत सर पर किसी भारी चीज के हमले की वजह से हुई है इसके अलावा घर के बाकी सामान भी इधर उधर बिखरे हुए मिलते हैं देखने से लग रहा था जैसे घर के अंदर लूटपाट की गई है जांच में कोई कसर न रह जाए इसलिए तुरंत ही फॉरेंसिक टीम को भी मौके पर बुला लिया जाता है इसके अलावा डॉग स्क्वायड को भी जांच की मदद के लिए बुलाया जाता है इधर पुलिस अपनी जांच आगे बढ़ाती है उधर दिव्या के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए पास के ही अस्पताल भेज दिया जाता है पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने पर खुलासा होता है कि दिव्या के स्तर पर किसी भारी चीज से वार किया गया था मगर हमला किस चीज से किया गया था वह वेपन घर के अंदर कहीं नहीं मिलता है इसके अलावा घर से कोई ऐसी वस्तु भी गायब नहीं होती है जिससे पक्के तौर पर कहा जा सके कि वास्तव में यह हत्या लूटपाट के दौरान की गई है इसके अलावा खोजी कुत्ते घर के आसपास के लोगों के इर्द गिर्द ही घूमना जारी रखते हैं इससे पुलिसवालों को दाल में कुछ काला नजर आने लगता है कुछ संकेत मिलने लगते हैं कि शायद इस घटना में हो ना हो घर के ही किसी सदस्य का हाथ है फिर भी पुलिस वाले एहतियात बरतते हुए अपनी जांच आगे बढ़ाते हैं आसपास में रहने वाले लोगों से पूछताछ भी की जाती है इस पूछताछ के दौरान कुछ लोग बताते हैं कि एक नौजवान को उन्होंने इस घर के अंदर जाते हुए देखा था लोगों द्वारा दिए गए हुलिए के आधार पर पुलिस अखिल कुमार सिंह नाम के एक युवक को अपनी हिरासत में लेती है अखिल कुमार सिंह दिव्या के पुरानी जान पहचान वालों में से एक था इसके अलावा अखिल की दोस्ती दिव्या के पति अजितेश मिश्रा से भी थी अखिल और अजितेश एक ही ऑफिस में काम किया करते थे जब अखिल से पूछताछ शुरू होती है तो यह बताता है कि जब वह दिव्या से मिलने आया था तो दिव्या बिल्कुल ठीक थे इन दोनों में बस यूँ ही बातचीत हुई और फिर वह चला गया था पुलिस जब अखिल से पूछताछ जारी रखती है तो थोड़ी देर की पूछताछ के बाद ही अखिल अपना बयान बदलना शुरू कर देता है बयान बदलने की वजह से पुलिसवालों को शक होने लगता है कि शायद अखिल को कुछ ऐसा मालूम है जिसे वह छिपा रहा है अखिल के बदलते बयानों के बीच पुलिसवालों की सवाल और तीखे होने शुरू हो जाते हैं जिसमें अखिल उलझता चला जाता है और आखिरकार एक समय बाद एक ऐसा खुलासा करता है जिसे सुनकर हर किसी के रोंगटे खड़े हो जाते हैं पूछताछ में अखिल खुलासा करता है कि दिव्या की जान किसी और ने नहीं बल्कि उसने ही ली है और ऐसा करने के लिए उसे किसी और ने नहीं बल्कि देवरिया के पति ने ही कहा था पुलिस वाले हत्या के मोटे को जानने की कोशिश करते हैं तो अखिल एक हैरान कर देने वाला खुलासा करता है खुलासे के मुताबिक दिव्या मिश्रा और अजितेश मिश्रा की शादी दो हज़ार सोलह में हुई थी शादी के कुछ समय बाद तक तो इन दोनों की जिंदगी अच्छे से करती है मगर एक समय बाद दोनों के रिश्तों में खटास आ जाती है खटास आने की वजह थी कि पिछले कुछ समय से अजितेश अपनी पत्नी से कथा करता रह रहा था अजितेश पत्नी को इग्नोर भी करने लगा था अजितेश के स्वभाव में आए बदलाव से दिव्या परेशान हो जाती है और वह इस बदलाव के पीछे के कारणों को समझने की कोशिश करने लगती है इसी दौरान उसे पता चलता है कि आजकल अजितेश की नजदीकी उसके ऑफिस में ही काम करने वाली भावना आर्य नाम की एक लड़की के साथ कुछ ज्यादा बढ़ गई है आगे चलकर पता चलता है कि अजितेश और भावना आया रिलेशनशिप में है यानी यह एक एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर का मामला था जैसे ही अजितेश के एक्स्ट्रा मेरिटल अफेयर का पता उसकी पत्नी दिव्या को लगता है दोनों के बीच खूब लड़ाइयां होने लगती है यहां तक कि दिव्या एक दिन अपने पति के मोबाइल से भावना का नंबर भी हासिल कर लेती है और फिर फोन पर इन दोनों के बीच काफी लड़ाइयां होती है
दिव्या भावना से बात करते हुए उसे अजितेश से दूर रहने को कहती है भावना अजितेश से दूर होने की बजाय दिव्या की शिकायत अजितेश से करने लगती है इस पर अजितेश को काफी गुस्सा आता है और वह उल्टा अपनी पत्नी के साथ ही काफी गलत व्यवहार करता है बीते समय के साथ इन दोनों का झगड़ा कम होने की बजाय बढ़ता ही चला जाता है पुलिस पूछताछ में हुए खुलासे के मुताबिक इसी बढ़ते तनाव के बीच अजितेश और भावना मिलकर दिव्या को अपने रास्ते से हटाने का प्लान बनाते हैं पहले तो अजितेश और भावना किसी प्रोफेशनल अपराधी से दिव्या की हत्या करवाने का प्लान बनाते हैं मगर इन लोगों को डर सताने लगता है कि अगर उन्होंने ऐसा किया तो पुलिस की पकड़ में आने की संभावना कुछ ज्यादा होगी इसलिए दोनों सोचते हैं कि यह काम किसी भरोसे वाले से करवाया जाए फिर ये लोग इस काम के लिए सात में ही ऑफिस में ही काम करने वाले अखिल कुमार सिंह नाम के दो से कॉन्टैक्ट करते हैं अखिल की दोस्ती अजितेश और भावना से भी थी ये तीनों आपस में एक ही टीवी चैनल की ऑफिस में काम किया करते थे इसके अलावा अखिल की काफी पुरानी दोस्ती दिव्या से भी थी अजितेश के साथ दिव्या से मिलने उसके घर भी जाया करता था अजितेश और भावना अखिल से मदद मांगते हैं और थोड़ी ना नुकर के बाद अखिल अजितेश और भावना की मदद करने के लिए तैयार हो जाता है फिर प्लान के मुताबिक चौदह अक्टूबर दो हज़ार उन्नीस को अखिल इटावा में अपने घर पर रह रही दिव्या के पास जाता है चूंकि दिव्या और अखिल की पुरानी जान पहचान थी इसलिए तुरंत ही दिव्या दरवाजा खोल देती है अखिल घर के अंदर दाखिल होता है दिव्या पहले अखिल को एक गिलास पानी लाकर देती है दोनों बैठकर बातचीत करना शुरू करते हैं बातचीत के दौरान दिव्या अखिल से अपने पति के साथ चल रहे तनावपूर्ण रिश्ते के बारे में बात करती है और वह अखिल से अजितेश को समझाने की भी गुजारिश करती है
बातचीत के दौरान ही दिव्या अपने कमरे से अपनी शादी की एलबम निकालकर ले आती है और वह एलबम में रखी तस्वीर अखिल को दिखाने लगती है दिव्या का पूरा ध्यान अखिल को तस्वीर दिखाने पर था जबकि अखिल की निगाहें आसपास कुछ ऐसी चीज तलाश रही थी जिससे प्लान के मुताबिक दिव्या की हत्या की जा सके
इधर उधर देखने पर अखिल को पास में रखा हुआ एक गुलदस्ता नजर आता है मौका मिलते ही अखिल गुलदस्ता उठा लेता है और जब दिव्या का पूरा ध्यान एल्बम पर होता है तभी पूरी ताकत से एक जोरदार बार अखिल दिव्या के सर पर करता है अचानक हुए हमले की वजह से दिव्या हड़बड़ा जाती है और वह नीचे गिर जाती है उसे समझ आ जाता है कि अखिल उसकी जान लेने आया है फिर वह अखिल के साथ हाथापाई करती है अब बचने की भरपूर कोशिश करती है मगर अखिल के आगे उसकी एक नहीं चलती है फिर अखिल तब तक दिव्या के सर पर हमले करना जारी रखता है जब तक कि दिव्या बिल्कुल शांत नहीं बढ़ जाती है दिव्या के मरने का यकीन होते ही अखिल घर का सारा सामान इधर उधर बिखेर देता है ताकि से लूटपाट का रूप दिया जा सके
फिर वह बड़ी ही सावधानी से अपने से जुडे सभी सबूतों को नष्ट करता है फिर बड़े आराम से घर से निकल जाता है घर से निकलते हुए वह साथ में वह गुलदस्ता भी लेकर जाता है जिससे उसने दिव्या के स्तर पर हमला किया था पलायन के कामयाब होने की जानकारी अखिल तुरंत दिव्या के पति अजितेश को भी दे देता है इस प्लान में अजितेश के साथ साथ भावना भी पूरी तरीके से शामिल होती है इसलिए जल्द ही उसे भी इस बात की जानकारी मिल जाती है इस बात से अनजान की बहू की हत्या के पीछे उनके ही बेटे का हाथ है दिव्या के ससुर यानी अजितेश के पिता प्रमोद मिश्रा खुद ही पुलिस ने अज्ञात तत्वों के खिलाफ लूटपाट और हत्या की धाराओं के तहत मामला दर्ज करवा देते हैं मगर जब पुलिस की जांच आगे बढ़ती है तो पता चलता है कि अजितेश ने खुद ही इस पूरी साजिश रची थी
पूरे खुलासे के बाद जल्द ही पुलिस वाले अखिल को गिरफ्तार कर लेते हैं इसके अलावा अजितेश और अजितेश की गर्लफ्रेंड भावना आया को भी गिरफ्तार कर लिया जाता है दिव्या के हत्यारे को कड़ी से कड़ी सजा मिल सके इसलिए पुलिस वाले अपनी जांच आगे बढ़ाते हुए महत्वपूर्ण सबूत जुटाना शुरू करते हैं कुछ समय बाद इस मामले की सुनवाई अदालत में शुरू होती है पूरी सुनवाई के बाद अजितेश मिश्रा और अखिल को दिव्या की हत्या के लिए उम्र कैद की सजा सुनाई जाती है जबकि हत्या की साजिश में अहम भूमिका निभाने वाली भावना आ को भी चौदह वर्षों की कैद की सजा सुनाई जाती है फिलहाल तीनों मुस्लिम अजितेश मिश्रा अखिल कुमार सिंह और भावना या जेल में अपने किए की सजा काट रहे हैं दोस्तों अदालत ने तो इन तीनों को सजा सुना दी हम इस फैसले का पूरा सम्मान करते हैं
फिर भी अगर आपको मौका मिले तो आप इन तीनों आरोपियों को क्या सजा देंगे 
Thank for Reading ❣️