Kuruganti Apsara Murder Case |Hyderabad के मामा-भांजी की शर्मनाक कहानी ।

5 जून 2023 को हैदराबाद के एक पुलिस थाने में एक मंदिर का पुजारी अपनी भांजी के गायब होने की शिकायत दर्ज करवाता है इस मामले में जांच आगे बढ़ती है तो कुछ ऐसे अन्य एक्सपेक्टेड खुलासे होने शुरू होते हैं कि पुलिस वाले भी शॉक्ड रह जाते हैं कुछ अपने ही लड़की के दोषी निकलते हैं पूरा मामला अवैध संबंध झूठ और धोखा धडी का निकलता है खुलासे के बाद रिश्ता भी शर्मशार होता है और अंत में हुए खुलासे के बाद तो लोग लडकी के साथ हुए हादसे को एक्ट ऑफ कर्मा का नाम देने तक लगते हैं तो आखिर क्या है इस गुरुमूर्ति अप्सरा मर्डर केस की पूरी कहानी लडकी के साथ क्या कुछ हुआ था और आखिर लड़की ने ऐसा क्या किया था कि उसके मरने के बाद लोग इसे एक्ट ऑफ कर्मा का नाम देने लगे चलिए जानते हैं सब कुछ डीटेल में इस कहानी में आगे बढ़ते  दोस्तों जैसा की हमने बताया यह मामला पहली बार पाँच जून दो हज़ार तेईस को पुलिस के सामने आता है हैदराबाद के राजीव गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पुलिस स्टेशन के पुलिस अधिकारी जब अपने अपने काम में बिजी थे तभी शरीर पर सफेद वस्त्र धारण किए और माथे पर तिलक लगाएँ एक व्यक्ति थाने के अंदर दाखिल होता है पुलिसवालों को यह व्यक्ति अपना नाम गरीब साई कृष्णा बताता है इसकी उम्र छत्तीस साल थी पुलिस वालों के सामने गरीब बताता है कि दो दिन पहले यानि तीन जून की रात को शमशाबाद इलाके में मैंने अपनी तीस साल की भांजी क्रोम घंटी अफसरों को अपनी कार से ड्रॉप किया था उसे अपने दोस्तों से मिलने के लिए भद्राचलम जाना था मैं अपनी भांजी को वहां ड्रॉप करके अपने घर चला गया उसकी थोड़ी ही देर बाद जब भांजी की मोबाइल पर फोन करने का प्रयास किया तो उसका मोबाइल स्विच ऑफ होने लगा यहां तक कि काफी इंतजार के बाद भी उसका मोबाइल स्विच ऑन नहीं हुआ कई दोस्तों से भी उसके बारे में जानकारी लेने की कोशिश की मगर उसके दोस्तों ने भी बताया कि अप्सरा के बारे में उनके पास कोई जानकारी नहीं है पुलिस के सामने कड़ी साई कृष्णा खुद को हैदराबाद के स्वरूप नगर इलाके के एक मंदिर का पुजारी बताता है मामला एक लडकी के गायब होने का था इसलिए पुलिस वाले भी तुरंत हरकत में आ जाते हैं और मामला दर्ज होते ही जांच पड़ताल शुरू की जाती है पुलिस के सामने आई एग्री ने बयान दिया था कि आखिरी बार अप्सरा उसी के साथ कार में बाहर गई थी इसलिए पुलिसवाले इस बात को कन्फर्म करने के लिए अप्सरा की मां से सबसे पहले मिलते हैं और पूछते हैं कि क्या आखिरी बार आपकी बेटी अक्षरा घड़ी के साथ ही बाहर कहीं भी अप्सरा की मां पुलिसवालों की बात पर सहमति जताती हैं
जैसा कि पहले गिरी ने बयान दिया था कि तीन जून की रात को ही उसने अपनी भांजी को शमशाबाद के एक लोकेशन पर ड्रॉप किया था वहां से अप्सरा को भद्राचलम जाना था जहां उसके दोस्त उसका इंतजार कर रहे थे इसलिए पुलिस वाले अप्सरा के पिकअप लोकेशन से लेकर आई एग्री द्वारा बताए गए अनुमानित ड्रॉप लोकेशन को मार्क करते हैं अब इस बीच मिलने वाले एक एक सीसीटीवी फुटेज को खंगालने का फैसला किया जाता है गरीब द्वारा बताए गए पिकअप और ड्रॉप लोकेशन के बीच की दूरी इक्कीस किलोमीटर के आसपास थी शुरुआती जांच में ही पुलिसवालों को पता चलता है कि इन इक्कीस किलोमीटर के बीच में सैकड़ों सीसीटीवी लगे हुए हैं लड़की का पता लगाने के लिए जरूरी था कि पुलिस वाले एक एक सीसीटीवी फुटेज की बारीकी से जांच करें और पुलिसवाले ऐसा करते भी हैं जांच की शुरुआत सबसे पहले अप्सरा के घर के पास से मिले सीसीटीवी फुटेज से होती है
घर के पास लगे सीसीटीवी फुटेज की जब जांच की जाती है तो उसमें अप्सरा अपने मामा गरीब साई कृष्णा के साथ जाती हुई दिखाई देती है इस तरह कड़ी का यह बयान तो सही पाया जाता है कि आखिरी बार अप्सरा उसके साथ घर के बाहर गई थी पुलिस वाले गरीब द्वारा बताए गए ड्रॉप लोकेशन के आसपास के सीसीटीवी फुटेज को खंगालने का फैसला करते हैं इस इलाके के आसपास के कई सीसीटीवी फुटेज पुलिस वाले छान मारते हैं मगर एक भी फुटेज में एग्री अपनी कार से अक्सर को ड्रॉप करते हुए नजर नहीं आता है पुलिसवाले अपनी जांच का दायरा बढ़ाते हुए गरीब द्वारा बताए गए लोकेशन से और आगे जाकर आसपास के इलाकों में भी जांच पड़ताल करते हैं मगर कहीं से भी इस बात की पुष्टि नहीं होती है कि कहीं न कहीं पर भी अप्सरा को अपनी कार से ड्रॉप किया है जब कहीं से भी पुलिसवालों को अप्सरा के ड्रॉप लोकेशन के बारे में जानकारी नहीं मिलती है तो पुलिस वाले एक बार फिर से कड़ी से ही पूछताछ करने का फैसला करते हैं जब इस मामले में दोबारा से कड़ी से पूछताछ की शुरुआत होती है तो पुलिस के सामने वह हर बड़ा सा जाता है और अब दूसरी ड्रॉप लोकेशन के बारे में बताने लगता है मतलब कि गरीब ने अब अपना बयान बदलना शुरू कर दिया था जब गयी अपना बयान बदलने लगता है तो पुलिस को इस पर शक होना शुरू हो जाता है और अब गरीब से ही गहराई से पूछताछ करने का फैसला किया जाता है जैसे जैसे पुलिसवालों की पूछताछ आगे बढ़ती है गरीब पुलिसवालों को नई नई कहानियां सुनाने लगता है और लगातार अपने बयान बदलने लगता है मगर ऐसा लंबे समय तक नहीं चल पाता है क्योंकि पुलिस वाले अपना तरीका अपनाना शुरू करते हैं तो गरीब सब कुछ सच सच बताना शुरू कर देता है पुलिस के सामने जब गरीब मामले की सच्चाई बताता है तो हर कोई शॉक्ड रह जाता है घड़ी पुलिस वालों को बताता है कि उसने अपनी भांजी अप्सरा को कहीं भी ड्रॉप नहीं किया था बल्कि उसने उसे मार दिया है पुलिस वालों के सामने गरीब बयान देता है कि तीन जून की रात घूमने जाने के बहाने से अपनी भांजी अप्सरा को वह अपनी कार में बैठा था है फिर वो उसे शमशाबाद के एक बेहद ही सुनसान इलाके में पहाड़ी के ऊपर लेकर चला जाता है यहां इन दोनों में किसी बात को लेकर बहस होती है और फिर यहीं पर एक बड़ा सा पत्थर उठाकर गरीब अपनी भांजी के मुंह पर जोर से मार देता है एक बार नहीं बल्कि लगातार गरीब अप्सरा के चेहरे पर पत्थर से वार करता है और बड़ी बेरहमी से उसे कुचल कर मार देता है अपनी भांजी की जान लेने के बाद कड़ी को लाश ठिकाने लगाने की चिंता सताने लगती है इसलिए पहले तो वह लाश को एक प्लास्टिक में अच्छे से लपेटता है और फिर उसे अपनी कार की डिग्गी में रखकर एक ऐसी जगह की तलाश में लग जाता है जहां लाश को जलाया जा सके इस तलाश में वह एक और सुनसान जगह पर पहुंचता है और अपनी कार खड़ी करके लकडी की तलाश में लग जाता है मगर उसे एक लाश को जलाने लायक लकड़ी नहीं मिलती है इसके अलावा उसे पकड़े जाने का भी डर सताने लगता है इसलिए वह लाश को जलाने का अपना फैसला बदल देता है और अब दूसरे तरीके से लाश को ठिकाने लगाने का प्लान बनाने लगता है लाश को गाड़ी की डिग्गी में ही रखकर वो से कुछ देर तक अपने घर की पार्किंग में ही खड़ी रखता है और फिर मौका मिलते ही कार लेकर उस मंदिर के पीछे चला जाता है जहां वह पुजारी के तौर पर काम किया करता था इस मंदिर के पीछे मंडल रिवेन्यू अफसर का दफ्तर था इस डॉक्टर के पास एक बड़ा सा मैनहोल था जब चारों तरफ सन्नाटा पसर जाता है तो गरीब अपनी कार को इसी मैनहोल के पास लेकर जाता है और मौका पाते ही अफसरों की लाश को उसी मैनहोल में डालकर इसका ढक्कन बराबर से बंद कर देता है कोई कभी भी इस लाश तक न पहुंच पाए इसलिए गरीब दो ट्रक मिट्टी भी उस मैनहोल के ऊपर दिलवा देता है हालांकि दो ट्रक मिट्टी डालने के बावजूद अगले दिन गरीब नोटिस करता है कि थोडी थोडी बदबू मैनहोल से बाहर आ रही है इसलिए वो फिर मिट्टी हटाकर पहले मैनुअल के ऊपर अच्छे सीमेंट का प्लास्टर चढ़ा देता है फिर उसे मिट्टी से ढक देता है अब भैया घड़ी को लगने लगता है कि उसने सही जगह लाश को ठिकाने लगा दिया है और अब वह कभी भी पकड़ा नहीं जाएगा हालांकि एक समस्या थी कि उसकी बहन जानती थी कि अप्सरा को आखिरी बार गरीब ही लेकर बाहर गया है
ऐसे में वह पुलिस से शिकायत कर सकती थी
इसलिए किसी को शक न हो इसलिए गरीब खुद ही पुलिस के पास जाकर अपनी भांजी के गायब होने की शिकायत दर्ज करवा देता है मगर उसकी चालाकी काम नहीं आती है और पुलिस के सामने उसका झूठ पकड़ा जाता है पुलिस हत्या की मोटिव के बारे में पता लगाने का फैसला करते हैं
जब पुलिस वाले गरीब से हत्या के कारण के बारे में जानने की कोशिश करते हैं तो आइए गरीब कुछ और चौंका देने वाला खुलासा करता है अगर ही के खुलासे के मुताबिक अप्सरा और गरीब पिछले काफी समय से एक दूसरे के साथ रिलेशनशिप में थे दोनों एक दूसरे को प्यार करने लगे थे देखते ही देखते दोनों का प्यार इतना ज्यादा बढ़ जाता है कि दोनों एक दूसरे के बेहद करीब आ जाते हैं और फिर एक दिन उसे पता चलता है कि अप्सरा गर्भवती हो गई है प्रेग्नेंट होने की बात जब सामने आती है तो अप्सरा गरीब पर दबाव बनाने लगती है कि अब ऐसे नहीं चलेगा बल्कि जितनी जल्दी हो तुम मुझसे शादी कर लो
मगर गाड़ी के सामने समस्या यह थी कि उसकी शादी कई साल पहले ही किसी दूसरी लड़की से हो चुकी थी और उसके दो बच्चे भी थे यह बात अप्सरा भी जानती थी इसलिए वह लगातार अप्सरा को समझाने की कोशिश करता है इस पर अप्सरा कहती है कि तुम अपनी पत्नी को छोड़ दो और मुझसे शादी कर लो चूंकि अप्सरा और गरीब का पहले से ही एक रिश्ता था इसलिए अप्सरा के लाख जिद के वाबजूद गरीब शादी के लिए मना करता रहता है इस बीच गरीब के समझाने पर अप्सरा अपना अबॉर्शन करवा लेती है अबॉर्शन के बाद भी वह लगातार गरीब पर शादी के लिए दबाव बनाती रहती है इसी के बाद गरीब खौफनाक प्लान बनाना शुरू करता है और फिर तीन जून की रात आखिरी बार लॉन्ग ड्राइव के बहाने अप्सरा को लेकर घर से बाहर निकलता है फिर उसे एक पहाड़ी पर ले जाता है यहां वो उसे समझाने की कोशिश करता है कि वह चाह कर भी उससे शादी नहीं कर सकता है मगर यहां भी अप्सरा कुछ समझने के लिए तैयार नहीं होती है
अगर के मुताबिक जब अप्सरा किसी भी तरीके से समझने के लिए राजी नहीं होती है तो वो एक बड़ा सा पत्थर उठाकर अप्सरा के चेहरे पर मार देता है और फिर वह लगातार हमले करके तब तक अप्सरा को मारता है जब तक कि उसे अप्सरा के मरने का यकीन नहीं हो जाता है इस खुलासे के बाद गरीब को गिरफ्तार करते हुए पुलिस कस्टडी में भेज दिया जाता है पुलिस जांच में यह तरीका इंटरनेट सर्च हिस्ट्री भी सामने आता है जिससे पता चलता है कि उसने अप्सरा की हत्या करने से पहले इंटरनेट पर सर्च किया था हाउ टू किल ह्यूमन में आगे कुछ दिनों की पूछताछ के बाद पुलिस वाले इस पूरे मामले का खुलासा करते हैं एक मामा भांजी के अवैध रिश्ते और हत्या की खबरें बाहर आते ही सुर्खियां बटोर ना शुरू कर देती है और आसपास के राज्यों की अखबारों में भी इस खबर को कवर किया जाता है अब यह खबर जब तमिलनाडु पहुंचती है तो अप्सरा से जुड़ा एक बेहद ही हैरान कर देने वाला खुलासा होता है दरअसल जब यह खबर मीडिया के जरिए तमिलनाडु में रहने वाली धनलक्ष्मी नाम की महिला तक पहुंचती है तो वह मीडिया वालों के सामने एक चौंका देने वाला खुलासा करती है
दरअसल वह बताती हैं कि अगर इन्हें जिस लड़की क्रोम गति अप्सरा की हत्या की है बोस उसकी बहू है और इस बहू के चलते उसकी बेटी ने आत्महत्या कर ली थी आगे इस मामले में पुलिस जांच करती है तो पता चलता है कि कुछ साल पहले ही अप्सरा की शादी कोयंबटूर के रहने वाले सॉफ्टवेयर इंजीनियर कार्तिक राजा से हुई थी कार्तिक राजा एक बड़ी कंपनी में काम करता था जहां उसे सैलरी के तौर पर अच्छा खासा पैसा मिल रहा था कार्तिक की मां के अनुसार शादी के बाद अप्सरा की मां की अरुणा भी अपनी बेटी की यहां ही रहने चली आती है अब दोनों माँ बेटी मिलकर उनके बेटे कार्तिक के पैसों पर ऐश करना शुरू कर देती है ये लोग आए दिन फाइव स्टार होटल में जाकर खाना खाने लगते हैं रोजाना कार्तिक पर शॉपिंग करवाने का दबाव बनाने लगती है इसके अलावा अप्सरा और उसकी मां कार्तिक के पैसों से हमेशा महंगी महंगी ज्वेलरी खरीदना शुरू कर देती है यह बात सच थी कि कार्तिक अच्छा पैसा कमा रहा था मगर जब कार्तिक की बीवी और सासूमाँ बेतहाशा पैसा खर्च करने लगती हैं तो कार्तिक की भी आर्थिक स्थिति गड़बड़ा जाती है और वह अपनी सासू माँ और बीबी के शौक को पूरा करने के लिए पच्चीस लाख का लोन ले लेता है कार्तिक की मां के अनुसार दोनों मिलकर कार्तिक का यह पैसा भी खत्म कर देते हैं इसके बाद भी ये लोग कार्तिक पर ज्यादा पैसे देने का दबाव बनाने लगते हैं मगर अब कार्तिक की हिम्मत जवाब देने लगती है और वह पैसा देने से मना कर देता है कार्तिक की मां के अनुसार जब काठ एक पैसा देने से मना कर देता है तो अप्सरा अपनी मां के कहने पर कार्तिक पर दहेज उत्पीड़न का केस दर्ज करवा देती है
केस दर्ज होते ही पुलिसवाले कार्तिक को गिरफ्तार कर लेते हैं फिर उसे जेल में डाल दिया जाता है दिन बाद बेल मिलने के बाद जब कार्तिक जेल से बाहर आता है तो समाज में उसे काफी ताने सुनने को मिलते हैं शर्मिंदगी की वजह से काटे एक दिन अपने हाथों से ही अपनी जीवन लीला समाप्त कर लेता है जब कार्तिक की मौत की जानकारी अप्सरा और उसकी मां को मिलती है तो दोनों ज्वेलरी और पैसा लेकर रातों रात चुपके से हैदराबाद चली जाती है कोई भी इन दोनों से संपर्क न कर पाएं इसलिए दोनों अपना पुराना सिंह भी बंद करवाकर नया नंबर ले लेते हैं
अब यही हैदराबाद में रहते हुए गयी और अप्सरा की नजदीकियां बढ़ती है और फिर यह नजदीकी बढ़ते बढ़ते अप्सरा की मौत पर जाकर खत्म होती है जब अप्सरा और उसकी मां पर फर्जी केस उत्पीड़न का केस दर्ज करवाने और उसकी वजह से एक मासूम लड़की की जान जाने की बात सामने आती है तो लोग अप्सरा के साथ हुई घटना को एक्ट ऑफ कर्मा का नाम देने लगते हैं
अब केस की मौजूदा स्थिति की बात करें तो अप्सरा की हत्या करने वाला गरीब साई कृष्णा सलाखों के पीछे बंद है और मामला अदालत में चल रहा है गति को अदालत से क्या सजा मिलती है वह तो आने वाले समय में ही पता चलेगा दोस्तों पूरी कहानी जानने के बाद आप क्या कहना चाहेंगे 
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